पहलगाम हमले के बाद पूर्व क्रिकेटर सुनील गावस्कर ने पाकिस्तान को लताड़ा, कहा  ‘तुम्हें कुछ नहीं मिलेगा…’

बीते मंगलवार पहलगाम में हुए इस हमले के बाद से पूरे देश भर में आक्रोश है, गुस्सा है और इस बीच तमाम क्रिकेटर्स भी जो है अपनी-अपनी तरीके से बात रखते हुए नजर आ रहे हैं। लेकिन अब पूर्व क्रिकेटर लेजेंड्री क्रिकेटर सुनील गावस्कर ने अपना गुस्सा जाहिर किया है। उन्होंने पहलगाम हमले को लेकर के अपना गुस्सा जाहिर किया है। कल जब राजस्थान रॉयल्स और आरसीबी का मैच शुरू होने वाला था तो मैच से पहले सुनील गावस्कर ने इस मुद्दे पर बात रखी। आखिर उन्होंने क्या कुछ कहा वह सबसे पहले आपको बताते है 

सुनील गावस्कर ने कहा कि “आई सेंड माय कंडोलेंसेस टू ऑल द फैमिलीज़ हु हैव लॉस्ट देयर लव वंस एंड डियर वंस। इट हैज़ अफेक्टेड ऑल ऑफ अस इंडियंस। आई जस्ट वांट टू आस्क अ क्वेश्चन टू ऑल द परपिट्रेटर्स। एंड ऑल दोज़ हु बैकल्ड देम एट द टेररिस्ट। देयर हैंडलर्स व्हाट हैज़ ऑल दिस फाइटिंग अचीव्ड?

आपको इसका हिंदी बताते है, सबसे पहले उन्होंने अपनी संवेदनाएं व्यक्त करी उन तमाम परिवार वालों से जिन्होंने अपनों को खोया है। साथ में उन्होंने कहा कि इससे पूरे भारतीयों को इससे बहुत ज्यादा असर पड़ा है। मैं एक सवाल करना चाहता हूं उन तमाम आतंकवादियों से जिन्होंने इसको अंजाम दिया। और जिन्होंने इनका समर्थन किया पीछे से। यह सब करके आखिर क्या कुछ उनको मिला है? यह सवाल जो है वो सुनील गावस्कर पूछ रहे हैं 

आपको बता दे कि इनसे पहले BCCI ने भी अपनी संवेदनाएं व्यक्त की थी। तमाम बड़े-बड़े क्रिकेटर्स ने अपने-अपने तरीके से संवेदनाएं व्यक्त की और अब लेजेंड्री क्रिकेटर सुनील गावस्कर भी आगे आए हैं। उन्होंने अपना दुख जाहिर किया है। उन्होंने संवेदनाएं व्यक्त की हैं और उन्होंने एक बड़ा सवाल खड़ा किया है कि आखिर यह सब करके क्या कुछ हासिल हो गया। 

सबसे बड़ी मार पाकिस्तान को इस समय पड़ रही है। खासतौर पर पीएसएल अब भारत में पूरी तरह से बैन हो चुका है। BCCI ने कहा  कि आने वाले समय में पाकिस्तान के साथ कोई भी सीरीज नहीं होगी। यहां तक कि जो पाकिस्तान सुपर लीग का प्रसारण भी होता था डिजिटली और टीवी पर वो भी पूरी तरीके से बंद हो चुका है।

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खबर वह होती है जिसे कोई दबाना चाहता है। बाकी सब विज्ञापन है। मकसद तय करना दम की बात है। मायने यह रखता है कि हम क्या छापते हैं और क्या नहीं छापते। "कलम भी हूँ और कलमकार भी हूँ। खबरों के छपने का आधार भी हूँ।। मैं इस व्यवस्था का भागीदार भी हूँ। इसे बदलने का एक तलबगार भी हूँ।। दीवाना ही नहीं हूँ, दिमागदार भी हूँ। झूठे पर प्रहार, सच्चे का यार भी हूं।।" (पत्रकारिता में 18 वर्षों से सक्रिय, इलेक्ट्रानिक से लेकर डिजिटल मीडिया तक का अनुभव, सीखने की लालसा के साथ राजनैतिक खबरों पर पैनी नजर)

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