मध्य प्रदेश कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह के भाई लक्ष्मण सिंह के खिलाफ पार्टी ने अब अनुशासनात्मक कारवाई करने का मन बना लिया है। पार्टी ने उन्हें बकायदा कारण बताओ नोटिस भेजा है। यह नोटिस उनके उन बयानों के बाद भेजा गया है जिसमें उन्होंने कांग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी समेत कांग्रेस के तमाम अन्य नेताओं के लिए जो शब्दों का इस्तेमाल उन्होंने किया। कांग्रेस आलाकमान ने और उसके बाद ही लक्ष्मण सिंह को कांग्रेस पार्टी ने बकायदा कारण बताओ नोटिस जारी किया है।
पिछले कुछ समय से लक्ष्मण सिंह लगातार अपने बयानों की वजह से सुर्खियों में रहे हैं और पार्टी ने यह कहा है कि जो अपमानजनक टिप्पणियां लगातार लक्ष्मण सिंह की तरफ से की जा रही है वह सभी स्वीकार्य सीमाओं के परे जा चुकी है। उनकी टिप्पणियों से कांग्रेस की छवि और गरिमा को गंभीर क्षति पहुंची है।
हाल ही में जब 22 अप्रैल को पहलगाम में हमला हुआ था। तो 25 अप्रैल को लक्ष्मण सिंह ने पहलगाम आतंकी हमले के बाद पार्टी के नेतृत्व पर ही सवाल खड़े कर दिए थे। पहलगाम के पीड़ितों को श्रद्धांजलि देने के लिए आयोजित एक सभा के दौरान उन्होंने कहा था कि राहुल गांधी और रॉबर्ट वाड्रा भोले हैं। देश उनकी अपरिपक्वता के परिणाम भुगत रहा है।
पार्टी की अनुशासनात्मक कारवाई समिति के सदस्य सचिव तारिक अनवर ने 9 मई को उन्होंने नोटिस जारी किया है और उसमें कहा है कि आपके बार-बार सार्वजनिक बयानों के बारे में मध्य प्रदेश कांग्रेस प्रमुख जीतू पटवारी और अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के महासचिव प्रभारी हरीश चौधरी से शिकायत प्राप्त हुई है जिससे कांग्रेस की छवि और गरिमा को गंभीर नुकसान पहुंचा है। कारण बताओ नोटिस में आगे लिखा है आपके हालिया बयान ने सभी स्वीकार्य सीमाओं को लांघ दिया है। विशेष रूप से लोकसभा में विपक्ष के सम्मानीय नेता राहुल गांधी सहित वरिष्ठ पार्टी नेतृत्व पर अपमानजनक और निंदनीय टिप्पणी करके इस नोटिस में आगे निर्देश दिया गया है कि आपको कारण बताओ नोटिस जारी करते हुए नोटिस प्राप्त होने की तारीख से 10 दिनों के भीतर लिखित स्पष्टीकरण प्रस्तुत करने का आदेश दिया जाता है।
लक्ष्मण सिंह फिलहाल वर्तमान में कांग्रेस के हैं। वह कमलनाथ सरकार के समय विधायक भी रहे थे। लक्ष्मण सिंह बीजेपी में भी जा चुके हैं। 25 अप्रैल को ही उन्होंने जम्मू कश्मीर के मुख्यमंत्री मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला पर भी निशाना साधते हुए कहा था कि आतंकवादियों के साथ मिलीभगत वो कर सकते हैं। रॉबर्ट वाड्रा पर भी बयान देते हुए उन्होंने कहा था कि जब रॉबर्ट वाड्रा ने बयान दिया था कि आतंकवादियों ने हमला इसलिए किया क्योंकि उन्हें सड़क पर नमाज पढ़ने से रोका गया है। यह ना केवल गैर जिम्मेदाराना है बल्कि सुरक्षा के लिए भी देश की सुरक्षा के लिए भी खतरा पैदा करने वाला है।
लक्ष्मण सिंह लगातार अपने बयानों की वजह से सुर्खियों में रहते हैं। ये कोई पहली मर्तबा नहीं है जब उन्होंने इस तरीके से अपनी ही पार्टी के नेताओं को निशाने पर लिया हो। मध्य प्रदेश में विधानसभा चुनाव की हार हो या फिर कमलनाथ सरकार का गिरना हो, लोकसभा चुनावों में हार रही हो। इन तमाम हार के बाद पार्टी का जो प्रदर्शन चुनावों में रहता है, उस पर भी लक्ष्मण सिंह कई बार टिप्पणियां कर चुके हैं। लक्ष्मण सिंह अपने बयानों के लिए काफी ज्यादा जाने जाते हैं और अब जिस तरीके से उनके बयान पहलगाम हमले के बाद सामने आए थे और उन्होंने पार्टी नेतृत्व पे सवाल खड़े किए थे। उसके बाद अब उन्हें कान बताओ नोटिस जारी कर दिया गया है। हालांकि इस नोटिस पे अब तक लक्ष्मण सिंह की तरफ से कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है।